यूपी विधानसभा शीतकालीन सत्र का दूसरा दिन, पेश होगा अनुपूरक बजट

 

उत्तर प्रदेश विधानसभा का शीतकालीन सत्र मंगलवार को शुरू हो गया. जिसमें सुचारू कार्यवाही के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विपक्षी दलों सहित सदन के सभी सदस्यों से सहयोग मांगा. आज शीतकालीन सत्र के दूसरे दिन हंगामा होने के आसार हैं. आज वित्त मंत्री सुरेश खन्ना अनुपूरक बजट भी पेश करेंगे. सरकार की ओर से सदन में करीब छह अध्यादेश को विधेयक के रूप में पेश किया जाएगा.

नेता प्रतिपक्ष अखिलेश यादव अनुपूरक बजट के खिलाफ सदन में अपनी बात रखेंगे. वहीं नेता सदन और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ अनुपूरक बजट के पक्ष में सदन को संबोधित करने के साथ विपक्ष के आरोपों का जवाब देंगे. सत्र के दौरान उत्तर प्रदेश शीरा नियंत्रण अध्यादेश 2023, उत्तर प्रदेश माल एवं सेवा कर अध्यादेश 2023, उत्तर प्रदेश निजी विश्वविद्यालय अध्यादेश 2023, उत्तर प्रदेश राज्य विश्वविद्यालय अध्यादेश 2023 के प्रतिष्ठानी विधेयक पारित होंगे.

विपक्ष ने जातिवार जनगणना, कानून व्यवस्था, आवारा पशुओं और किसानों की समस्याओं समेत तमाम मुद्दों पर सरकार को घेरने की तैयारी की है. मंगलवार को सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा था कि सरकार सभी विपक्षी सदस्यों के सवालों का जवाब देने के लिए तैयार है. मैं सभी सदस्यों, विशेषकर विपक्षी दलों से अपील करता हूं कि वे सदन की गरिमा को बनाए रखने में मदद करें क्योंकि यह विपक्ष की भी जिम्मेदारी है न कि सिर्फ सत्ताधारी दल की. राज्य सरकार विकास और जनता से जुड़े महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा के लिए तैयार है.

 

यूपी के डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक ने मंगलवार को बताया था कि हमने आशुतोष टंडन और 9 अन्य सदस्यों के निधन पर शोक प्रस्ताव पेश किया. इस दौरान समाजवादी पार्टी के नेता काले कपड़े पहनकर विधानसभा आए. कुछ ऐसा हुआ यह पहली बार है कि जब सदन में शोक प्रस्ताव पारित किए जा रहे थे तो पार्टी के नेताओं ने काले कपड़े पहनकर विरोध किया. हम इसकी निंदा करते हैं. इसके लिए जनता उन्हें माफ नहीं करेगी.

वहीं सपा चीफ अखिलेश यादव ने सदन में सरकार को घेरते हुए कहा था कहा कि कैंसर जैसी गंभीर बीमारी लगातार बढ़ती जा रही है, बहुत सारे लोगों को हम खोते हैं. जो (कैंसर) संस्थान चल रहे हैं, उन्हें सरकार और मजबूत करे जिससे मरीजों को बेहतर इलाज मिल सके. अगर बजट खर्च नहीं हो रहा इसका मतलब गरीबों को इलाज नहीं मिल रहा, किसानों को खाद नहीं मिल रहा, आपकी बिजली व्यवस्था भी बेहतर नहीं है. बजट न खर्च करना सरकार की नाकामी है.