बाराबंकीः विभिन्न जगहों पर युग पुरुष स्वामी विवेकानन्द की मनायी गयी जयन्ती

0

 

विधान केसरी समाचार

बाराबंकी। युग पुरूष स्वामी विवेकानन्द जी की जन्म जयन्ती पर श्री रामवन कुटीर आश्रम हड़ियाकोल में चल रहे नर सेवा-नारायण सेवा के महायज्ञ में आज जनपद न्यायाधीश पंकज कुमार सिंह, विधिक सेवा प्राधिकरण के सचिव, अपर जिला जज कृष्ण चन्द्र सिंह, जिला बार एसोसियेशन के अध्यक्ष हिसाल बारी किदवाई ने आश्रम पर पहुँच कर स्वामी विवेकानन्द जी की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया एवं 09 जनवरी से चल रहे निःशुल्क नेत्र (मोतियाबिन्द) के आपरेशन के मरीजों एवं परिवारजनों का हाल-चाल लिया। जिला जज महोदय ने आपरेशन कक्ष में देश विदेश से आये सेवाभावी डाक्टरों से भेंट कर नेत्र के हो रहे आपरेशनों के बारे में जानकारी ली तथा डाक्टरों का उत्साहवर्धन किया। इस अवसर पर जिला जज महोदय ने कहा मैंने अपने जीवन में निःस्वार्थ सेवा का इतना बड़ा आयोजन नहीं देखा। इस स्थान पर ग्रामीण भारत की झलक दिखती है। न्याय की पहली परिभाषा ही यही है कि सभी के साथ एक समान व्यवहार, सभी को स्वास्थ्य एवं शिक्षा निःशुल्क मिलनी चाहिए। प्रकृति हमेें सब कुछ देती है हम लोगों का कर्त्तव्य बनता है कि हमें भी समाज हित में दूसरों को वापस करना चाहिए। इस स्थान के ऊपर देव कृपा है तभी इतना बड़ा आयोजन हो रहा है। अपर जिला जज श्री कृष्ण चन्द्र जी ने कहा कि स्वामी विवेकानन्द जी के मंत्र कि मनुष्य में ही परमात्मा के दर्शन हो सकते है। इस स्थान पर स्वामी विवेकानन्द जी के दिये हुए वाक्य का पालन हो रहा है। आश्रम के सेवादार मनीष मेहरोत्रा ने बताया कि आज भी पी0जी0आई0 रोहतक (हरियाणा) के डा0 रमेश हुड्डा जी, डा0 उमेश सिंह खत्री की टीम ने बड़ी संख्या में मरीजों की ओ0पी0डी0 कर आपरेशन के लिये चयनित किया। इन सभी का आपरेशन डा0 जैकब की टीम विपरित मौसम में भी करने में लगी हुई है। कल स्वास्थ्य राज्य मंत्री मयंकेश्वर शरण सिंह जी मरीजों का हालचाल जानने 1ः00 दिन में आश्रम पर पहुँचेंगे। मरीजों के परिवारजनों के लिये सिलीगुड़ी (आसाम), रावतसर (राजस्थान), कलकत्ता के अतुल पेड़ीवाल, मदन जी, राजू पेड़ीवाल, भवानी सेवाभावी लोग कैण्टीन का संचालन कर रहे है जिसमें 10 रू0 में 4 पूड़ी, 2 रू0 की चाय मिल रही है। इस अवसर पर अंकित गुप्ता, बाबा शिवसरन दास, अंजनी पेण्टर एवं संजय यादव आदि लोग मौजूद रहे।

इसी क्रम में जवाहरलाल नेहरू मेमोरियल पोस्ट ग्रेजुएट कॉलेज बाराबंकी के प्रांगण में आज प्रातः स्थित स्वामी विवेकानंद जी की मूर्ति पर महाविद्यालय के प्राचार्य प्रोफेसर (डॉ०) सीताराम सिंह ने माल्यार्पण किया। इसके उपरांत प्राचार्य ने कहा कि स्वामी विवेकानंद जी ने अपने ओजस्वी विचारों से सकल विश्व को भारतीय संस्कृति की सुगंध से पल्लवित कर युवाओं के प्रेरणास्रोत, “युग प्रवर्तक” स्वामी विवेकानंद जी की जयंती पर नमन और राष्ट्रीय युवा दिवस की सभी को हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं दी।. आगे कहा कि स्वामी विवेकानंद जी के व्यक्तित्व एवं इस कथन को ष्उठो, जागो और तब तक मत रुको जब तक लक्ष्य की प्राप्ति ना हो जाए।ष् की सीख छात्र छात्राओं को अपने जीवन में आत्मसात करने का आह्वान किया। इस कार्यक्रम में डॉ० अरविन्द कुमार पाण्डेय ने स्वामी जी के व्यक्तित्व और कृतित्व पर प्रकाश डाला। छात्र ओमकार ने कहा कि स्वामी जी का कहना है कि आप अन्धविश्वास से दूर रहे।

इसी क्रम में रामसनेहीघाट ब्लॉक बनी कोडर क्षेत्र के अंतर्गत ग्राम सभा चोरी अलादादपुर में स्थित श्री राम अभिलाष स्मारक इंटर कॉलेज मैं विश्व विख्यात वेदांत दार्शनिक एवं आध्यात्मिक गुरु स्वामी विवेकानंद की जयंती के अवसर पर विद्यालय के संचालक एवं शिक्षक महासभा के प्रदेश उपाध्यक्ष तेज कुमार उपाध्याय ने उनके चित्र पर पुष्पांजलि देकर धूमधाम से मनाया बच्चों को संबोधित करते हुए कहा की स्वामी विवेकानंद का जन्म आज ही के दिन 1863 को कोलकाता में हुआ था इनके पिता का नाम विश्वनाथ दत्त था तथा माता का नाम भुवनेश्वरी देवी था इनका बचपन का नाम नरेंद्र नाथ दत्त था 12 वर्ष की अल्प आयु में इन्होंने पंडित रामकृष्ण परमहंस को अपना गुरु बनाया और उनसे शिक्षा और दीक्षा प्राप्त की इनका नारा था उठो जागो तब तक ना रुको जब तक लक्ष्य की प्राप्ति ना हो जाए इन्होंने बेलूर में अपने गुरु के नाम पर स्वामी रामकृष्ण मठ एवं स्वामी रामकृष्ण मिशन की स्थापना की 1893 ईस्वी में विशव धर्म सम्मेलन के लिए अमेरिका के शिकागो एयरपोर्ट के बाहर निकले तो वहां के लोगों ने गेरुआ वस्त्र धारण करने के कारण हंसकर इनका मजाक उड़ाया ईसाइयों ने वहां पर इनको सबसे बाद में बोलने का मौका दिया गया लेकिन जब मंच पर पहुंचे और भाषण प्रारंभ किया तो विद्वान होने के कारण वहां के लोगों ने ताड़ी बजाकर उनका गर्म जोशी से स्वागत किया पूरे विश्व में सनातन धर्म का डंका बजा दिया वहां के पत्रकारों ने इनसे पूछा कि आपकी गीता को सभी धर्म की पुस्तकों से सबसे नीचे क्यों रखा गया तो इन्होंने जवाब दिया गीता सभी धर्म की मूल आधार है और गीता से ही सभी धर्म की उत्पत्ति हुई इसलिए गीता को सबसे नीचे रखा गया 39 साल की अवस्था में 4 जुलाई सन 1902 को इनका निधन हो गया प् उनकी जयंती को भारत में राष्ट्रीय युवा दिवस के रूप में राघवेंद्र शर्मा मनाया जाता है इसपद अवसर पर विद्यालय के प्रधानाचार्य उमाशंकर शुक्ल परमानंद तिवारी शुभम श्रीवास्तव सुशील कुमार रविंद्र प्रताप सिंह रीता यादव राघवेंद्र शर्मा आदि लोग मौजूद थे

इसी क्रम में राष्ट्रीय युवा दिवस पर नागेश्वर नाथ धाम में हिन्दू धर्म के मजबूत स्तम्भ व विश्व में भारत का मान बढ़ाने वाले युवाओं के प्रेरणास्रोत स्वामी विवेकानंद की जयंती मनाई गई। नागेश्वरनाथ परिसर में स्थापित पूर्ति पर सामूहिक रूप से माल्यार्पण करके स्वामी विवेकानंद को श्रद्धा- सुमन अर्पित किए गए।स्वामी विवेकनन्द की जयंती पर एक गोष्ठी भी आयोजित की गई। जिसमें बुद्धजीवी वर्ग के वक्ताओं ने युवाओं से उठो जागो और आगे बढ़कर स्वामी विवेकानंद के सपने को साकार करो का आवाह्न करते हुए स्वामी जी की शिक्षाओ पर प्रकाश डाला। मुख्य वक्ता डॉ० टी एन वर्मा ने स्वामी जी की सम्मानजनक परम्परा का निर्वहन करके देव ऋण उतारने पर बल दिया।कार्यक्रम में वारिस चिल्ड्रेन एकडमी इंटर कॉलेज के मेधावी छात्र, विख्यात राज शुक्ला जिन्होने 2024 की यू पी बोर्ड परीक्षा में 94.18 प्रतिशत अंक प्राप्त किए थे, उन्हें गौरव पुरस्कार से सम्मानित किया गया। इस दौरान डॉ टीएन वर्मा, भाजपा नेता राकेश वर्मा कर्रा, सरदार चरनजीत सिंह, चरनजीत गाबा, राकेश शुक्ला दीपक, डीसी श्रीवास्तव, गोविन्द वर्मा, अतुल शर्मा, सुबोध तिवारी, राम सरन मौर्या, मनीष सिंह, हिमांशू वर्मा, बुद्धिलाल गौतम, उमा शंकर कश्यप सहित तमाम नारी शक्ति शामिल हुई।

इसी क्रम में शहर नगर के धनोखर सरोवर स्थिति भगवान श्री चित्रगुप्त मंदिर परिसर में आज राष्ट्रीय जागरण मंच के तत्वावधान में व अध्यक्ष मनोज श्रीवास्तव के संयोजन में स्वामी विवेकानंद जयंती युवा दिवस के शुभ अवसर पर पुष्पांजलि अर्पण कार्यक्रम का आयोजन किया गया तथा मिष्ठान वितरण किया गया।संबोधित करते हुए मनोज श्रीवास्तव ने बताया कि स्वामी जी ने तत्कालीन समय में अंग्रेजी दासता के प्रभाव के कारण भारतवर्ष की गौरवशाली संस्कृति व सनातन परंपराओं के क्षीण होते प्रभाव को विश्व में पुनर्स्थापित कर भारत का गौरव बढ़ाया। इस अवसर पर श्रीमती गुंजन, श्रीमती नीलम वर्मा, श्रीमती किरन तिवारी, श्रीमती अनीता गुप्ता, सुभाष श्रीवास्तव, हरीश श्रीवास्तव राजा, लक्ष्मी नारायण, राजीव श्रीवास्तव, विनय श्रीवास्तव, अनिल रावत, शरद श्रीवास्तव, मनीष चैधरी, अंशू श्रीवास्तव, अम्बरीष श्रीवास्तव, आचार्य विशाल बाजपेई व पार्थ श्रीवास्तव सहित अनेक लोग उपस्थित रहे।